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चार नाटक
चार नाटक
प्रकाशक :
राजकमल प्रकाशन |
प्रकाशित वर्ष : 2018 |
पृष्ठ :326
मुखपृष्ठ :
सजिल्द
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पुस्तक क्रमांक : 12307
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आईएसबीएन :9789388183659 |
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प्रस्तुत हैं पुस्तक के कुछ अंश
‘‘मराठी की रंगपरम्परा बहुत समृद्ध और सजीव रही है और उसका प्रभाव हिन्दी पर भी पड़ा है। मराठी और हिन्दी के बीच रंगमंच और नाटक के क्षेत्र में लगातार आदान-प्रदान होता रहा है। मराठी के प्रायः सभी बड़े आधुनिक नाटककारों के नाटक हिन्दी में अनूदित हुए और अनेक निर्देशकों द्वारा कई शहरों में खेले जाते रहे हैं। श्याम मनोहर के चार नाटक मराठी-हिन्दी के विद्वान् निशिकान्त ठकार द्वारा अनूदित होकर यहाँ पहली बार हिन्दी में प्रकाशित हो रहे हैं। रज़ा पुस्तक माला के अर्न्तगत अन्य भारतीय भाषाओं से अच्छी और प्रासंगिक सामग्री हिन्दी में लाने के हमारे प्रयत्न का यह हिस्सा है।’’
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